दिल्ली में होने वाली G20 सम्मेलन से पहले सुरक्षा तैयारियां तेज कर दी गई हैं। भारत अगले महीने देश की राजधानी दिल्ली में G20 शिखर सम्मेलन का मेजबान बनने जा रहा है l यह महत्वपूर्ण समिट दिल्ली के प्रगति मैदान के नव निर्मित स्टेट ऑफ आर्ट कंवेंशन कॉप्लेक्स में 9 और 10 सितंबर को आयोजित होगी l ट्रैफिक मैनेजमेंट से लेकर स्कूल-कॉलेज तक बंद करने की तैयारी है। दुनिया के 20 सबसे ताकतवर देशों के राष्ट्राध्यक्षों के आने से पहले दिल्ली पुलिस सुरक्षा तैयारियों में कोई कसर नहीं छोड़ना चाहती है। जानिए इस समिट को लेकर भारत की क्या कुछ तैयारी है?

बता दें कि भारत वसुधैव कुटम्भकम यानी “एक पृथ्वी, एक परिवार, एक भविष्य” की प्रेरणा के साथ अपनी अध्यक्षता में इस बैठक का आयोजन करने जा रहा है l वैसे तो पूरे भारत में G20 की बैठकें अलग-अलग राज्यों में हुई हैं l इस बैठक के बाद भारत 1 दिसंबर 2023 को G20 देशों की अधिकारिक अध्यक्षता इंडोनेशिया से लेगा l अगले एक साल उसकी अध्यक्षता में G20 देशों की प्रगति रूपरेखा तैयार होगी l इस G20 सम्मेलन में 19 शक्तिशाली देशों के राष्ट्राध्यक्ष और यूरोपीय यूनियन शामिल है l जानकारी के लिए बता दें कि 1999 में G20 समूह समिट का विचार आया था l जब इन समूह देशों के वित्त मंत्री और सेंट्रल बैंक के गवर्नर इंटरनेशनल अर्थव्यवस्था और वित्तीय मुद्दों पर बातचीत के लिए एक मंच पर आए थे l

जानिए G20 का कैसा है स्वरूप?

बता दें कि G20 सम्मेलन में वह सभी देश शामिल हैं, विश्व की आबादी का जो दो तिहाई हैं l करीब 75 परसेंट विश्व व्यापार की हिस्सेदारी भी इन्हीं देशों के पास है l इतना ही नहीं ग्लोबल जीडीपी की बात करें तो इन देशों की उसमें हिस्सेदारी 85 प्रतिशत है l सन् 2007 के संकट के बाद G20 को राष्ट्राध्यक्षों और शासनाध्यक्षों के स्तर तक ले जाया गया और इसे अंतर्राष्ट्रीय आर्थिक सहयोग के लिए प्रमुख मंच का नाम दिया गया l

भारत इंडोनेशिया से 1 दिसंबर को गृहण करेगा G20 की अध्यक्षता

बता दें पिछले G20 ग्रुप के अध्यक्ष रहे इंडोनेशिया से भारत 1 दिसंबर को अध्यक्षता गृहण करेगा l इस वक्त भारत दुनिया का सबसे बड़ा लोकतंत्र है और वर्तमान में दुनिया की सबसे तेजी से बढ़ती अर्थव्यवस्था भी है l भारत की G20 की अध्यक्षता पिछले 17 राष्ट्राध्यक्षों द्वारा हासिल किए गए महत्वपूर्ण मील के पत्थरों को आगे बढ़ाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाएगी l हर साल होने वाले इस शिखर सम्मेलन का स्थान बदलता रहता है l इस बार भारत को मेजबानी मिली है l G20 का कोई स्थायी सचिवालय नहीं है l इसलिए प्रत्येक शिखर सम्मेलन को पिछले, वर्तमान और भविष्य के राष्ट्राध्यक्ष के समर्थन से आयोजित किया जाएगा l इसके समूह को ट्रोइका कहा जाता है l इस बार ट्रोइका में इंडोनेशिया, भारत और ब्राजील हैं l

क्या कुछ अलग है G20 के एजेंडे में इस बार?

बता दें कि G20 अध्यक्ष शिखर सम्मेलन की मेजबानी करता है और एक वर्ष के लिए G20 एजेंडे का संचालन करता है l इस बार इसमें दो ट्रैक शामिल हैं l पहला वित्त और दूसरा शेरपा ट्रैक l वित्त ट्रैक का नेतृत्व वित्त मंत्रियों और केंद्रीय बैंक के गवर्नरों ने किया l वहीं, शेरपा ट्रैक को शेरपाओं ने लीड किया l यह वित्त ट्रैक के बाद होता है l इसके अलावा अन्य समूह भी इस बार शामिल थे. यह नागरिक समाज, सांसदों, थिंक टैंक, व्यापारियों, शोधकर्ताओं, युवाओं, श्रमिकों और महिलाओं को G20 सदस्य देशों में लाते हैं l

यूरोपीय यूनियन को हटाकर G20 में 19 शक्तिशाली देश शामिल हैं l इसमें प्रमुख रूप से संयुक्त राज्य अमेरिका, कनाडा, मैक्सिको, अर्जेंटीना, ब्राजील, दक्षिण अफ्रीका, चीन, जापान, दक्षिण कोरिया, भारत, इंडोनेशिया, रूस, तुर्की, फ्रांस, जर्मनी, इटली, यूके, सऊदी अरब और ऑस्ट्रेलिया शामिल हैं l इसके साथ ही बता दें कि इस बार की शिखर सम्मेलन में मेहमानों की लिस्ट में बांग्लादेश, मिस्र, मॉरीशस, नीदरलैंड, नाईजीरिया, ओमान, सिंगापुर, स्पेन, और यूनाइटेड अरब अमीरात (यूएई) शामिल हैं l शिखर सम्मेलन में भाग लेने के लिए आने वाले विश्वभर के दिग्गज नेताओं, गणमान्य व्यक्तियों, मिशन के स्वागत और ठहरने के लिए विदेश मंत्रालय ने कुल 35 होटलों को बुक किया है l

विश्व के एजेंडे को भारत तय करेगा

भारत की कूटनीति इस समय सफल चल रही है l भारत पश्चिमी देशों और रूस दोनों के साथ संतुलित संबंध बनाकर चल रहा है l इस समय भारत की नीति वैश्विक मंच पर नेतृत्व की भूमिका की ओर बढ़ रही है l G20 मंच की अध्यक्षता उसे वैश्विक एजेंडा तय करने की दिशा में मजबूत कदम साबित होगी l दुनिया में इस समय अस्थिरता की स्थित बनी हुई है l ऐसी परिस्थियों में भारत G20 की अध्यक्षता की जिम्मेदारी निभा रहा है l भारत के पास बड़ी सोच के साथ बेहतर नतीजे देने की क्षमता है l दुनिया के अधिकांश देश भारत से वैश्विक चुनौतियों से निपटने में पहल की आस लगाए बैठे हैं l

7 सितंबर की रात से शुरू हो जाएगा प्रतिबंध

बता दें कि G20 समिट के लिए जो ट्रैफिक मैनेजमेंट प्लान तैयार किया गया है, उसके अनुसार 7 तारीख की रात 12 बजे से नई दिल्ली एरिया समेत अन्य प्रतिबंधित या सुरक्षा घेरे वाली जगहों के आस-पास ट्रैफिक नियम लागू कर दिया जाएगा। इस दौरान बॉर्डर से केवल आवश्यक वस्तुओं, जैसे कि दूध और मिल्क प्रोडक्ट्स, सब्जियां, राशन का सामान, दवाइयां और पेट्रोलियम पदार्थ आदि लेकर आ रहे ट्रकों को ही एंट्री दी जाएगी।

ख़ुशी की बात यह है कि इस दौरान मेट्रो सेवा जारी रहेगी। ट्रैफिक पुलिस के स्पेशल कमिश्नर एस.एस. यादव ने लोगों से अपील की है कि G20 समिट के दौरान वे आवागमन के लिए सड़क मार्ग के बजाय मेट्रो से सफर करें, तो कोई दिक्कत नहीं होगी। एयरपोर्ट, रेलवे स्टेशन, बस अड्डे, अस्पताल जैसी जगहों पर जाने के लिए भी मेट्रो का अधिक से अधिक इस्तेमाल करने की सलाह दी गई है। हालांकि, सुरक्षा इंतजामों के चलते 8 से 10 सितंबर के बीच सुप्रीम कोर्ट, खान मार्केट, मंडी हाउस, केंद्रीय सचिवालय जैसे कुछ मेट्रो स्टेशनों को बंद रखा जा सकता है, लेकिन बाकी सारे मेट्रो स्टेशंस खुले रहेंगे और सभी लाइनों पर मेट्रो चलेगी।

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