आज झारखंड की राजनीति में बेहद ही खास दिन हैं l चंपई सोरेन सरकार विधानसभा में फ्लोर टेस्ट का सामना करेगी l सरकार का भविष्य भी इसके साथ तय किया जाएगा l हेमंत सोरेन ने इससे पहले 31 जनवरी को मुख्यमंत्री पद से इस्तीफा दे दिया था, इसके बाद फिर विधायक दल की बैठक में चंपई सोरेन को मुख्यमंत्री बनाने का फैसला लिया गया था l चंपई सोरेन ने 2 फरवरी को मुख्यमंत्री पद की शपथ ली थी l चंपई सोरेन सरकार आज विश्वास मत हासिल करेगी l इस समय झारखंड में महागठबंधन की सरकार है l जिसमें जेएमएम के 29, कांग्रेस के 17, आरजेडी के एक और सीपीआई (एमएल) के एक विधायक मौजूद हैं l इनकी कुल संख्या 48 है l वहीँ दूसरी तरफ सरकार बनाने के लिए 41 विधायकों का समर्थन जरूरी है l

इस समय मुख्यमंत्री सोरेन के सामने एक बड़ी चुनौती खड़ी है और यह बहुमत साबित करने की चुनौती है l ऐसा दावा किया जा रहा हैं कि चंपई सोरेन की पहुंच से कुछ विधायक दूर हैं l इससे पहले मीडिया के सामने एक इंटरव्यू में जेएमएम से नारज विधायक लोबिन हेम्ब्रम ने बड़ा बयान दिया l मीडिया के सामने पार्टी छोड़ने का ऐलान करने वाले विधायक ने कहा कि सरकार के साथ बहुत गलत हुआ l उन्होंने अपने भड़काऊ बयान में कहा कि ‘बिकने वाला कहीं भी बिक जाता है l हम बाकी विधायकों के साथ हैदराबाद नहीं गए, क्या कोई हमको खरीद पाएगा l’ इसके साथ ही उन्होंने कहा कि उन्हें खरीदे जाने का डर नहीं है l

रविवार को इससे पहले जेएमएम, कांग्रेस के विधायकों को हैदराबाद से वापस रांची लाया गया l मुख्यमंत्री चंपई सोरेन की शपथ के बाद इन विधायकों को शिफ्ट कर दिया गया था l कांग्रेस और जेएमएम का दावा हैं कि विपक्षी पार्टी बीजेपी हॉर्स ट्रेडिंग की कोशिश कर रही है l

मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, शनिवार को रांची की एक स्पेशल कोर्ट ने झारखंड के पूर्व मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन को पांच फरवरी को राज्य विधानसभा में विश्वास मत में भाग लेने की अनुमति दी l ईडी ने 31 जनवरी को हेमेत सोरेन को जमीन घोटाले से जुड़े मनी लॉन्ड्रिंग के मामले में लंबी पूछताछ के बाद गिरफ्तार किया था l सोरेन ने इसी दौरान ईडी हिरासत में ही राजभवन जाकर राज्यपाल को अपना इस्तीफा सौंप दिया था l

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