प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने बेंगलुरु में बोइंग के सेंटर का शुक्रवार को उद्घाटन कर दिया है l अमेरिका से बाहर इसे बोइंग का सबसे बड़ा सेंटर बताया जा रहा है l इस इंजीनियरिंग एवं टेक्नोलॉजी सेंटर को कंपनी ने एविएशन सेक्टर में आ रहे बदलावों के लिए खुद को तैयार रखने के लिए बनाया है l यहां पर रिसर्च, डेवलपमेंट, इनोवेशन और डिजाईन पर जोर दिया जाएगा l पीएम मोदी ने कहा कि यह ‘मेक इन इंडिया, मेक फॉर द वर्ल्ड’ रणनीति का एक हिस्सा है l भारत के टेलेंट पर इस सेंटर से दुनिया का भरोसा और ज्यादा मजबूत होगा l
भारत में बढ़ी महिला पायलटों की संख्या
बता दें कि पीएम मोदी ने जानकारी देते हुए बताया कि फ़िलहाल भारत में 15 फीसदी पायलट महिलाएं हैं l वैश्विक औसत का यह तीन गुना है l हमारी बेटियों के पायलट बनने के सपने को साकार करने में बोइंग सुकन्या प्रोग्राम और ज्यादा मदद करेगा l बोइंग का यह कैंपस एक दिन दुनिया को भारत में बड़ा आधुनिक विमान भी देगा l पीएम मोदी ने कहा कि बेंगलुरु शहर नए प्रयोगों और सफलताओं को बढ़ावा देता रहा है l दुनिया की तकनीकी डिमांड को पूरा करने में इसी शहर ने मदद दी है l
1600 करोड़ रुपये में किया 43 एकड़ के कैंपस को तैयार
बता दें कि बोइंग इंडिया इंजीनियरिंग एंड टेक्नोलॉजी सेंटर का यह कैंपस लगभग 43 एकड़ में फैला हुआ है l कंपनी ने इस पर लगभग 1600 करोड़ रुपये खर्च किए हैं l यह अमेरका के बाहर कंपनी का सबसे बड़ा सेंटर है l देश में यह सेंटर नए स्टार्टअप और निजी एवं सरकारी भागीदारी को बेहतर बनाने की दिशा में काम करेगा l यहां से ग्लोबल एयरोस्पेस एवं डिफेंस इंडस्ट्री के लिए अगली पीढ़ी के प्रोडक्ट एवं सर्विसेज विकसित किए जा सकेंगे l मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार, बोइंग के इस कैंपस में एक साथ 3000 से ज्यादा इंजीनियर काम कर सकेंगे l इसके अलावा भारतीय सेना के साथ मिलकर भी बोइंग काम करेगी l यह डिफेंस सेक्टर में आत्मनिर्भर भारत योजना के तहत एक अहम पड़ाव है l
क्या हैं बोइंग सुकन्या कार्यक्रम का उद्देश्य?
बता दें कि पीएम मोदी ने बोइंग सुकन्या कार्यक्रम का उद्घाटन किया l इस कैंपस से देश की बेटियों को एविएशन सेक्टर में ज्यादा से ज्यादा जगह मिल सकेगी l बेटियों को इसके तहत साइंस, टेक्नोलॉजी, इंजीनियरिंग एवं मैथ्स जैसी फील्ड में कौशल विकास का प्रशिक्षण मिलेगा l इतना ही नहीं इसके साथ एविएशन सेक्टर में नौकरियों के लिए प्रशिक्षण भी मिलेगा l कर्नाटक के मुख्यमंत्री सिद्दरमैया ने इस मौके पर कहा कि यह राज्य के लिए सम्मान की बात है. कर्नाटक ने हमेशा देश के तकनीकी विकास में योगदान दिया है l