वोडाफ़ोन आइडिया फाउन्डेशन और नैसकॉम फाउन्डेशन ने ‘कनेक्टिंग फॉर गुड’ कॉन्क्लेव में तकनीकी समाधानों को दर्शाया

उद्योग जगत के दिग्गजों और एनजीओ ने सामाजिक समस्याओं के समाधान के लिए तकनीक की भूमिका पर चर्चा की भारत में अनुकूल प्रणाली के निर्माण के लिए तकनीक बेहद महत्वपूर्ण है जहां, इंटरनेट की पहुंच बहुत अधिक है और सरकार का डिजिटल इंडिया अभियान सामाजिक आवश्यकताओं के लिए स्थायी बदलाव लाने हेतु तालमेल में काम कर रहा है। तकनीक का उपयोग किस तरह सामाजिक कल्याण के लिए किया जा सकता है, इस विषय पर चर्चा करने के लिए विभिन्न हितधारकों को एक ही मंच पर लाने के उद्देश्य के साथ वी की सीएसआर शाखा वोडाफ़ोन आइडिया फाउन्डेशन (वीआईएफ) ने नैसकॉम के साथ साझेदारी में नई दिल्ली में एक सम्मेलन ‘कनेक्टिंग फॉर गुडः पार्टनर कॉन्क्लेव’ का आयोजन किया।
नैसकॉम के साथ साझेदारी में आयोजित वीआईएफ का कनेक्टिंग फॉर गुड प्रोग्राम एक ऐसी प्रणाली को बढ़ावा देता है जो तकनीक के उपयोग द्वारा शिक्षा, महिला सशक्तीकरण, स्वास्थ्य एवं कृषि क्षेत्रों में सामाजिक समस्याओं के समाधान को प्रोत्साहित करती है। प्रोग्राम का उद्देश्य एनजीओ, सिविल सोसाइटी संगठनों एवं सीबीओ को सशक्त बनाना है ताकि वे इनोवेशन्स को बढ़ावा दे सकें, जानकारी का प्रसार कर सकें और अपने हस्तक्षेपों के द्वारा बड़े पैमाने पर व्यापक प्रभाव उत्पन्न कर सकें। ‘कनेक्टिंग फॉर गुड’ के तहत आयोजित पार्टनर्स कॉन्क्लेव के दौरान आधुनिक तकनीकी समाधानों के माध्यम से सामाजिक समस्याओं को हल करने के लिए तकनीक की भूमिका पर चर्चा की गई।


‘कनेक्टिंग फॉर गुड’ कॉन्क्लेव में पी बालाजी, डायरेक्टर, वोडाफ़ोन आइडिया फाउन्डेशन और चीफ़ रेगुलेटरी एण्ड कॉर्पोरेट अफ़ेयर्स ऑफिसर, वीआईएल; डॉ निलय रंजन, हैड, सीएसआर एण्ड सस्टेनेबिलिटी, वोडाफ़ोन आइडिया फाउन्डेशन; निधी भसीन, सीईओ, नैसकॉम फाउन्डेशन; डॉ संजय कुमार, प्रेज़ीडेन्ट, कॉर्प. अफे़यर्स एण्ड पब्लिक पॉलिसी, अपग्रेड फाउन्डेशन; समीर कंवर, डायरेक्टर डिजिटल हेल्थ, पाथ; हर्ष जेटली, सीईओ, वॉल्युन्टरी एक्शन नेटवर्क इंडिया (वीएएनआई); प्रोफेसर अरविंदर ए अंसारी- जामिया मिलिया इस्लामिया; और डॉ ऋषिकेश पटंकर मौजूद थे। सम्मेलन के दौरान हितधारकों ने अपने आधुनिक तकनीकी समाधानों का परिचय दिया। सम्मेलन ने उन्हें अपने समाधानों की पहुंच बढ़ाने के लिए साझेदारी के अवसर प्रदान किए। कॉन्क्लेव को सम्बोधित करते हुए पी बालाजी, डायरेक्टर, वोडाफ़ोन आइडिया फाउन्डेशन और चीफ़ रेगुलेटरी एण्ड कॉर्पोरेट अफ़ेयर्स ऑफिसर, वीआईएल ने कहा, ‘‘टेलीकॉम ने देश में इंटरनेट की पहुंच को अप्रत्याशित रूप से बढ़ाया है। मोबाइल टेक्नोलॉजी के उपयोग से लोगों, कारोबारों और समाज का जीवन पूरी तरह से बदल गया है। वोडाफोन आइडिया फाउन्डेशन, तकनीक और इनोवेशन्स के उपयोग द्वारा सामाजिक समृद्धि, डिजिटल साक्षरता और समावेशन पर ध्यान केन्द्रित करती है। अपने विभिन्न तकनीकी हस्तक्षेपों के माध्यम से हमने लाखों लोगों के जीवन को प्रभावित किया है। आज, हमें नैसकॉम के साथ साझेदारी में ‘कनेक्टिव फॉर गुड प्रोग्राम’ के तहत इस सम्मेलन का आयोजन करते हुए बेहद खुशी का अनुभव हो रहा है। यहां प्रस्तुत किए गए शक्शिली विचार वास्तविक जीवन की कुछ सबसे मुश्किल समस्याओं को हल करने में मददगार होंगे और लोगों को कल्याण के लिए कनेक्ट करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाएंगे।’

निधी भसीन, सीईओ, नैसकॉम फाउन्डेशन ने कहा, ‘‘समाज कल्याण के लिए तकनीक के उपयोग की अवधारणा समाज में स्थायी बदलाव को प्रोत्साहित करती है, खासतौर पर तब जब देश में तकनीक का उपयोग तेज़ी से बढ़ रहा है। हाल ही में जारी एक रिपोर्ट के मुताबिक सरकार तकनीक पर 9.6 बिलियन डॉलर खर्च कर रही है और 2022 में इस आंकड़े को 11.6 फीसदी तक बढ़ाने का अनुमान है। इस बड़े बदलाव को देखते हुए, यह सुनिश्चत करना ज़रूरी हो जाता है कि हम देश में तकनीक के लिए गैर-लाभ सिस्टम को सशक्त बनाएं ताकि यह सकारात्मक प्रभाव देश के हर व्यक्ति तक पहुंच सके। दक्षता से काम करने वाले गैर-लाभ संगठनों के लिए लागत प्रभावी तकनीकी समाधान समय की मांग हैं और इन पर जल्द से जल्द ध्यान देना चाहिए। यही वह पहलु है जहां ‘कनेक्टिंग फॉर गुड’ पहल महत्वपूर्ण भूमिका निभाती है, जो गैर-लाभ सिस्टम को सही तकनीकी हस्तक्षेपों के साथ जोड़कर एनजीओ परिवेश में सुधार लाती है।’ फूड शेयर जॉय – लिटिल इंडिया फाउंडेशन से श्री सलीम ख़ान को आमंत्रित किया गाय, लिटिल इंडिया फाउंडेशन एक ऐसी फाउंडेशन है जो शेर फूड सेव फूड सिक्योरिटी पे पिछले कुछ सालों से बच्चों को लेके काम करती हैं।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *